10 November, 2025
वैश्विक टीबी रिपोर्ट 2025
Thu 13 Nov, 2025
संदर्भ :
- विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO - World Health Organization) ने वैश्विक टीबी रिपोर्ट 2025 जारी की है।
रिर्पोट की मुख्य बातें :
- यह रिपोर्ट टीबी के महामारी विज्ञान (Epidemiology) और नियंत्रण प्रयासों के वैश्विक परिदृश्य को दर्शाती है।
वैश्विक बोझ की स्थिति :
- टीबी के मामले: वर्ष 2024 में, अनुमानित तौर पर 10.7 मिलियन (1.07 करोड़) से अधिक लोग टीबी संक्रमण से प्रभावित हुए।
- टीबी से मौतें: टीबी के कारण पिछले वर्ष 1.2 मिलियन (12 लाख) से अधिक लोगों की मृत्यु हुई, जो इसे दुनिया में सबसे घातक संक्रामक रोग बनाए हुए है।
- सर्वाधिक बोझ वाले देश: वैश्विक टीबी मामलों का अधिकांश बोझ मुट्ठी भर देशों पर है। वर्ष 2024 में, दुनिया के 67% मामले केवल आठ देशों से थे, जिसमें भारत 25% मामलों के साथ पहले स्थान पर रहा, जिसके बाद इंडोनेशिया, फिलीपींस और चीन का स्थान रहा।
प्रगति दर :
- वैश्विक घटना दर: 2015 से 2024 के बीच टीबी की घटना दर (प्रति एक लाख आबादी पर नए मामले) में वैश्विक स्तर पर 12% की कमी आई है।
- उपचार सफलता दर: ड्रग-संवेदनशील टीबी के लिए उपचार सफलता दर 88% दर्ज की गई है।
- ड्रग-प्रतिरोधी टीबी (MDR-TB): ड्रग-प्रतिरोधी टीबी (MDR-TB) से प्रभावित लोगों की संख्या में मामूली गिरावट देखी गई है, लेकिन यह अभी भी एक बड़ा वैश्विक खतरा बना हुआ है।
भारत की स्थिति
मामलों और मृत्यु दर में उल्लेखनीय कमी :
| सूचक | 2015 का आँकड़ा | 2024 का आँकड़ा | परिवर्तन | टिप्पणी |
| टीबी घटना दर (प्रति लाख आबादी) | 237 | 187 | 21% की कमी | यह वैश्विक गिरावट की दर (12%) से लगभग दोगुनी है, जो उच्च भार वाले देशों में सबसे अधिक गिरावटों में से एक है। |
| टीबी मृत्यु दर (प्रति लाख आबादी) | 28 | 21 | महत्वपूर्ण कमी | यह कमी वैश्विक औसत कमी से भी अधिक है, जो देश की उपचार गुणवत्ता को दर्शाती है। |
| लापता मामले (अनुमानित) | 15 लाख | 1 लाख से कम | बड़ी सफलता | निदान और रिपोर्ट किए गए मामलों की संख्या में अभूतपूर्व वृद्धि। |
उपचार और निदान में प्रगति :
- उपचार कवरेज: उपचार कवरेज 53% (2015) से बढ़कर 92% (2024) हो गया है। 2024 में 26.18 लाख से अधिक टीबी रोगियों का उपचार किया गया।
- उपचार सफलता दर: टीबी मुक्त भारत अभियान के तहत उपचार की सफलता दर बढ़कर 90% हो गई है, जो वैश्विक सफलता दर (88%) से अधिक है।
- DR-TB का शीघ्र पता लगाना: रिफैम्पिसिन के प्रति संवेदनशीलता परीक्षण के व्यापक कवरेज के कारण दवा प्रतिरोधी टीबी (DR-TB) का शीघ्र पता लगाने की दर 92% है, जो वैश्विक दर (83%) से काफी बेहतर है।
प्रौद्योगिकी और बुनियादी ढांचे का विस्तार :
- सक्रिय केस फाइंडिंग (ACF): दिसंबर 2024 में शुरू हुए टीबी मुक्त भारत अभियान के तहत नई तकनीकों और सक्रिय जांच रणनीतियों का उपयोग किया गया।
- 24.5 लाख से अधिक टीबी रोगियों का पता चला, जिनमें 8.61 लाख लक्षणहीन (asymptomatic) टीबी के मामले शामिल हैं।
- नैदानिक उपकरण: देश भर में 500 से अधिक AI (कृत्रिम बुद्धिमत्ता) से सुसज्जित हाथ से पकड़े जाने वाले चेस्ट एक्स-रे यूनिट उपलब्ध हैं, तथा 1,500 मशीनें राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों को प्रदान की जा रही हैं।
- प्रयोगशाला नेटवर्क: विश्व में सबसे बड़े टीबी प्रयोगशाला नेटवर्क का सहयोग है, जिसमें 9,391 तीव्र आणविक परीक्षण (NAAT) सुविधाएँ शामिल हैं।
- सेवाओं का विकेंद्रीकरण: 1.78 लाख आयुष्मान आरोग्य मंदिरों के माध्यम से टीबी देखभाल सेवाओं को सामुदायिक स्तर तक पहुँचाया गया है।
वित्तीय और सामाजिक सहायता :
- सरकारी वित्त पोषण: टीबी कार्यक्रम के लिए वार्षिक बजट पिछले 9 वर्षों में दस गुना बढ़ गया है।
- निक्षय पोषण योजना (NPY): पोषण सहायता के तहत ₹500 से बढ़ाकर ₹1000 प्रति माह किया गया है। अप्रैल 2018 से अब तक 1.37 करोड़ से अधिक लाभार्थियों को ₹4,406 करोड़ से अधिक की राशि वितरित की गई है।
जनभागीदारी (Community Mobilization):
- निक्षय मित्र के रूप में 6,77,541 से अधिक व्यक्तियों और संगठनों ने नामांकन कराया है, जिन्होंने 45 लाख से अधिक खाद्य सामग्री वितरित की है।
- 2 लाख से अधिक मेरा भारत (My Bharat) स्वयंसेवकों को निक्षय मित्र के रूप में जोड़ा गया है।
- अनुकूलित उपचार: उच्च जोखिम वाले टीबी रोगियों की पहचान नैदानिक मापदंडों और सह-रुग्णताओं के आधार पर की जाती है, और उन्हें व्यक्तिगत एवं अनुकूलित उपचार प्रदान किया जाता है।
टीबी (क्षय रोग / Tuberculosis)
- टीबी या क्षय रोग (Tuberculosis - TB) एक संक्रामक रोग है, जो माइकोबैक्टीरियम ट्यूबरकुलोसिस (Mycobacterium tuberculosis) नामक जीवाणु के कारण होता है।
- यह मुख्यतः फेफड़ों (Pulmonary TB) को प्रभावित करता है, लेकिन यह शरीर के अन्य अंगों जैसे हड्डियों, गुर्दे, मस्तिष्क, और रीढ़ की हड्डी को भी प्रभावित कर सकता है।
संचरण (Transmission) :
- यह रोग वायु के माध्यम से फैलता है, जब संक्रमित व्यक्ति खांसता, छींकता या बोलता है।
- संक्रमित व्यक्ति के निकट संपर्क में आने वाले व्यक्ति को यह संक्रमण हो सकता है।
- भीड़भाड़ वाले, कम हवादार स्थानों में संक्रमण का खतरा अधिक रहता है।
लक्षण (Symptoms) :
- लगातार दो सप्ताह से अधिक खांसी रहना
- खांसी में खून या बलगम आना
- वजन में कमी और भूख न लगना
- रात में पसीना आना
- बुखार और कमजोरी महसूस होना
प्रकार (Types of TB) :
- फेफड़ों की टीबी (Pulmonary TB) – फेफड़ों को प्रभावित करती है।
- बाह्य फुफ्फुसीय टीबी (Extrapulmonary TB) – शरीर के अन्य अंगों को प्रभावित करती है जैसे – हड्डियाँ, लसीका ग्रंथियाँ, मस्तिष्क, गुर्दे आदि।
- लुप्त टीबी (Latent TB) – शरीर में जीवाणु मौजूद रहते हैं, परंतु लक्षण नहीं दिखते।
- सक्रिय टीबी (Active TB) – लक्षण प्रकट होते हैं और व्यक्ति दूसरों को संक्रमित कर सकता है।









