02 July, 2025
पराक्रम दिवस
Tue 23 Jan, 2024
सन्दर्भ
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लाल किला पर पराक्रम दिवस के अवसर पर नौ दिवसीय कार्यक्रम का उद्घाटन किया। इसके अलावा प्रधानमंत्री ने इस मौके पर नौ दिवसीय भारत पर्व का भी शुभारंभ किया।
प्रमुख बिंदु
- गौरतलब है कि वर्ष 2021 से नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंती को पराक्रम दिवस के रूप में मनाया जा रहा है।
- इस वर्ष लाल किला पर आयोजित इस उत्सव में विभिन्न गतिविधियों के माध्यम से नेताजी सुभाष चंद्र बोस और आजाद हिंद फौज की विरासत देखने को मिली।
- अभिलेखागार प्रदर्शनी में दुर्लभ तस्वीरें और दस्तावेज का प्रदर्शन किया गया।
- इसके अलावा भारत पर्व के अंतर्गत गणतंत्र दिवस की झांकी और सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ देश की समृद्ध विविधता का प्रदर्शन किया गया।
- इसमें 26 मंत्रालयों और विभागों के प्रयासों की झलक दिखी।
आजादी में लाल किले की महत्वपूर्ण भूमिका
- लाल किला की नेताजी सुभाष चंद्र बोस और आजाद हिंद फौज की गाथा में महत्वपूर्ण भूमिका है।
- लाल किला परिसर में स्थापित संग्रहालय नेताजी सुभाषचंद्र बोस और आईएनए की विरासत को संरक्षित व सम्मान देने के लिए समर्पित है।
- इसका उद्घाटन प्रधानमंत्री मोदी ने 2019 में नेताजी की जयंती पर किया था।
- कर्नल प्रेम सहगल, कर्नल गुरबख्श सिंह ढिल्लों और कर्नल शाहनवाज खान के नाम इतिहास में लाल किला ट्रायल में प्रमुख व्यक्तियों के रूप में दर्ज हैं।
भारतीय राष्ट्रीय सेना
- जुलाई 1943 में वे जर्मनी से जापान-नियंत्रित सिंगापुर पहुँचे, जहाँ उन्होंने ‘दिल्ली चलो’ का नारा दिया ।
- 21 अक्तूबर, 1943 को ‘आज़ाद हिंद सरकार’ तथा ‘भारतीय राष्ट्रीय सेना’ के गठन की घोषणा की।
- भारतीय राष्ट्रीय सेना का गठन पहली बार मोहन सिंह और जापानी मेजर इविची फुजिवारा (Iwaichi Fujiwara) के नेतृत्त्व में किया गया था।
- इसमें मलायन (वर्तमान मलेशिया) अभियान के दौरान सिंगापुर में जापान द्वारा कैद किये गए ब्रिटिश-भारतीय सेना के युद्ध बंदियों को शामिल किया गया था।
- साथ ही इसमें सिंगापुर की जेल में बंद भारतीय कैदी और दक्षिण-पूर्व एशिया के भारतीय नागरिक भी शामिल थे।
- इसकी सैन्य संख्या बढ़कर 50,000 हो गई थी।
- INA ने वर्ष 1944 में इम्फाल और बर्मा में भारत की सीमा के भीतर मित्र देशों की सेनाओं का मुकाबला किया।
- नवंबर 1945 में ब्रिटिश सरकार द्वारा INA के सदस्यों पर मुकदमा चलाए जाने के तुरंत बाद पूरे देश में बड़े पैमाने पर प्रदर्शन हुए।
परीक्षापयोगी महत्वपूर्ण तथ्य
सुभाष चंद्र बोस
- जन्म - 23 जनवरी 1897 को (कटक, उड़ीसा डिवीजन, बंगाल प्रांत )
- शिक्षा-रेवेनशॉ कॉलेजिएट स्कूल, कटक; प्रेसीडेंसी कॉलेज, कलकत्ता; कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय, इंग्लैंड
- 1919 में उन्होंने भारतीय सिविल सेवा (आईसीएस) परीक्षा उत्तीर्ण की थी। हालाँकि, बाद में इस्तीफा दे दिया।
- आध्यात्मिक गुरु- स्वामी विवेकानंद
- राजनीतिक गुरु- चितरंजन दास
- संघ (राजनीतिक दल)-भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस; फॉरवर्ड ब्लॉक; भारतीय राष्ट्रीय सेना
- सम्बन्धित आंदोलन-भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन
- राजनीतिक विचारधारा- राष्ट्रवाद, साम्यवाद, फासीवाद ।