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खाद्य वस्तुओं के संदर्भ में मुद्रास्फीति अनुमान -

Tue 26 Sep, 2023

सन्दर्भ - 

  • उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (सीपीआई) के अनुमानों के अनुसार जुलाई (7.4 प्रतिशत) की तुलना में अगस्त में खुदरा मुद्रास्फीति घटकर 6.8 फीसदी हो गई है। 
  • यहां तक कि खाद्य वस्तुओं की महंगाई भी जुलाई के उच्चतम स्तर 11.5 फीसदी से घटकर अगस्त में 9.94 प्रतिशत हो गई। फिर भी यह अधिक ही है। 
  • यह गिरावट मुख्यत: सब्जियों की कीमतों में कमी के कारण आई है, जो जुलाई की 37.4 फीसदी की तुलना में अगस्त में 26.1 प्रतिशत थी। हालांकि, अनाज और दालों में महंगाई दोहरे अंकों में बनी हुई है।

 आरबीआई का मत - 

  • भारतीय रिजर्व बैंक ने भी अपने मासिक बुलेटिन में माना है कि खाद्य मुद्रास्फीति को काबू करना कठिन साबित हो रहा है। 

सरकार का मत-

  • वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के अनुसार ब्याज दरें बढ़ाकर महंगाई नियंत्रित करने की कीमत आर्थिक विकास को चुकानी पड़ सकती है।

 खाद्य वस्तुओं में महंगाई बढ़ने के कारण - 

  • घरेलू आपूर्ति में कमी के कारण कई खाद्य वस्तुओं, विशेषकर अनाज व दालों में महंगाई बढ़ी है।
  • गेहूं का उत्पादन गरमी और बेमौसम बारिश के कारण प्रभावित हुआ। 
  • वहीं चावल की अधिक कीमतों के लिए कम व असमान वर्षा जिम्मेदार है। 

 सरकार द्वारा उठाये गए कदम -

  • मई, 2022 में गेहूं के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया गया। 
  • इसके अलावा सामान्य किस्म चावल के निर्यात पर प्रतिबंध के बाद बासमती चावल के लिए न्यूनतम निर्यात मूल्य तय किए गए। 

 खाद्य मुद्रास्फीति से निपटने के उपाय-

  • उत्पादन को प्रोत्साहन देना ,
  • भंडारण सुविधाओं का विकास,
  • फसलों में विविधता लाना,
  • जलवायु स्मार्ट खेती को प्रोत्साहन इत्यादि।

 परीक्षा हेतु महत्वपूर्ण तथ्य

सीपीआई

  • घरेलू उपभोक्ताओं द्वारा खरीदे गये सामानों एवं सेवाओं (goods and services) के औसत मूल्य को मापने वाला एक सूचकांक ।
  • आधार वर्ष -2012

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